देहरादून: प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार, 26 जून को राष्ट्रीय राजमार्ग-74 (एनएच-74) और एनएच-125 चौड़ीकरण घोटाले में कथित भ्रष्टाचार और मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में उत्तराखंड के पीसीएस अधिकारी दिनेश प्रताप सिंह (डीपी सिंह) के ठिकानों पर छापेमारी की। इस कार्रवाई से नौकरशाही में हड़कंप मच गया।
सिंह वर्तमान में देहरादून में उत्तराखंड सरकार द्वारा संचालित डोईवाला चीनी मिल के कार्यकारी निदेशक हैं।ईडी ने उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के सात स्थानों पर धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए), 2002 के तहत सर्च ऑपरेशन चलाया।
सूत्रों के अनुसार, सिंह ने भूमि अधिग्रहण के सक्षम प्राधिकारी के रूप में काम करते हुए उत्तर प्रदेश जमींदारी उन्मूलन एवं भूमि सुधार अधिनियम, 1950 की धारा 143 के तहत बैकडेटेड आदेशों के जरिए कृषि भूमि को गैर-कृषि दिखाकर मुआवजे की दर को 8-10 गुना बढ़ा दिया। इससे सरकार को 162.5 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। गैर-कृषि दर पर मुआवजा कृषि दर से कहीं अधिक होता है।
यह मामला 2017 में उत्तराखंड पुलिस की एफआईआर और चार्जशीट से शुरू हुआ, जिसमें सिंह, राजस्व अधिकारियों, किसानों और बिचौलियों पर सरकारी धन के दुरुपयोग की साजिश रचने का आरोप है। ईडी ने 2024 में सिंह और अन्य के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के तहत चार्जशीट दाखिल की थी। ताजा छापेमारी का उद्देश्य मामले में और सबूत जुटाना है।